- Advertisement -
Latest articles
निष्कलंक सम्प्रदाय के संस्थापक मावजी
राजस्थान के वागड़ क्षेत्र में मावजी ने वैष्णव धर्म के अंतर्गत जो सम्पदाय स्थापित किया उसे निष्कलंक सम्प्रदाय कहते हैं किंतु स्थानीय लोग इसे...
परमारों की उत्पत्ति ब्रह्मक्षत्र के रूप में हुई थी!
परमारों की उत्पत्ति के सम्बन्ध में प्रायः सभी इतिहासकारों ने उन्हें अग्निवंशीय माना है और सभी ने आबू पर्वत पर वशिष्ठ ऋषि के अग्निकुण्ड...
राजस्थान पर सातवाहन अधिकार
राजस्थान पर सातवाहन अधिकार कहाँ से कहाँ तक और कब से कब तक रहा, इसके बारे में कोई निश्चित जानकारी अब तक नहीं मिल...
मधुकरगढ़ – एक भूला बिसरा दुर्ग
मध्यकाल में मालवा क्षेत्र से हाड़ौती क्षेत्र में प्रवेश करने के लिए दो मार्ग उपलब्ध थे। इनमें से पहला मार्ग मुकन्दरा होकर आता था...
नौकोटि मारवाड़
पश्चिमी राजस्थान में यह आम धारणा है कि मारवाड़ राज्य नौ परमार भाइयों में बंटा हुआ था जिसे नौकोटि मारवाड़ कहते थे। ऐतिहासिक स्तर...
Categories
- मेवाड़125
- पासवान गुलाबराय105
- राजस्थान105
- इतिहास पुरुष104
- राष्ट्रीय राजनीति में मेवाड़ का प्रभाव68
- मारवाड़50
- साहित्य37
- इतिहास34
- सम्राट पृथ्वीराज चौहान32
- महाराजा रूपसिंह राठौड़29
- ढूंढाड़29
- हल्दीघाटी का युद्ध और महाराणा प्रताप27
- ब्रिटिश शासन में राजपूताना की रोचक घटनाएँ23
- ऐतिहासिक उपन्यास22
- इतिहास ग्रंथ21
- ब्रजभूमि20
- इतिहास के स्रोत19
- अजमेर19
- क्रांतिकारी बारहठ केसरीसिंह18
- हाड़ौती17